Thursday, June 13, 2013

शायरी

दुआ है मेरी उनकी हर दुआ कबूल हो ।
                    शामिल रहूँ मैं बनके दुआ उनकी दुआ में ।

मुझको मेरे दोस्त अगर भूल भी जायें ,
                             याद मैं आऊं उन्हें हर एक दुआ में । 

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